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बिहार को यूं ही घोटाला प्रदेश नहीं कहा जाता है यहां समर्थवान का कोई दोष नहीं होता है सामूहिक शादी योजना के तहत एक बड़ा घोटाला सामने आया है जहां बिना दुल्हन के शादियां कर दी गई और दुल्हन खुद ही अपने गले में जयमाला डालते हुई नजर आई है यह मामला उछलने के बाद आप समाज कल्याण अधिकारी को सस्पेंड कर दिया है तथा कई अन्य लोगों को सस्पेंड करने की संस्तुति की गई है।
बलिया जनपद में 25 जनवरी को मनियर में हुए मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह में बड़ी धांधली का खुलासा हुआ है.
सामूहिक विवाह में अपात्रों की जांच के लिए सीडीओ ने 20 सदस्यीय जांच टीम गठित कर दी है. वही बलिया जिलाधिकारी का कहना है कि जांच के बाद दोषियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर कड़ी कार्यवाई की जाएगी. दरअसल 25 जनवरी को हुए सामूहिक विवाह में बगैर दूल्हे के कई दुल्हनों का खुद ही जयमाल डालते वीडियो सामने आया था तो वही कई दूल्हे नाबालिग भी शादी करने पहुचे थे.
इनमें सुल्तानपुर गांव की पांच व मानिकपुर गांव की तीन महिलाएं शामिल हैं. मुख्य विकास अधिकारी के निर्देश पर जिला समाज कल्याण अधिकारी दीपक श्रीवास्तव ने तहरीर देकर मनियर ब्लॉक के एडीओ (समाज कल्याण) के खिलाफ केस दर्ज करा दिया है. बताया जा रहा है कि डीएम ने एडीओ सुनील कुमार यादव के निलंबन की सिफारिश भी कर दी है.
सामूहिक विवाह में खेल के सत्यापन में कई चौंकाने वाले खुलासे हो रहे हैं. मंगलवार को जांच के लिए पहुंची टीम ने असली व नकली लाभार्थियों की सूची तैयार कर देर शाम अधिकारियों को सौंप दी. इस आधार पर अब कई अधिकारियों-कर्मचारियों व लाभार्थियों पर कार्रवाई तय मानी जा रही है. इस पूरे प्रकरण में जिला समाज कल्याण विभाग व ब्लॉकों के अधिकारियों व कर्मचारियों की भूमिका संदिग्ध मिली है.
बताया जाता है कि एक अधिकारी ने बेरुआरबारी ब्लॉक के भरखरा गांव में लाभार्थियों का सत्यापन किया तो कई फर्जी लाभार्थी मिले. सूत्रों की मानें तो भरखरा ग्राम सभा के ही जयनगर पुरवा में कई ऐसे लोग हैं जिनके नाम सूची में नहीं हैं लेकिन 25 जनवरी को सामूहिक विवाह में बांटे गये उपहार लिए. ग्रामीणों के मुताबिक विवाह में भाई-बहन, भयोहू-भसुर भी लालच में फर्जी वर-वधू बनकर योजना का लाभ ले रहे थे. वैसे ब्लॉक में चर्चा है कि सत्ताधारी दल से जुड़े नेताओं के समर्थकों ने भी अपनी ओर से कई लोगों का नाम सूची में शामिल कराया था.
फर्जीवाड़ा भी ऐसा कि…
मिली जानकारी के मुताबिक सोमवार को सीडीओ की ओर से गठित तीन सदस्यीय कमेटी ने दो गांवों मानिकपुर व सुल्तानपुर की रहने वाली लाभार्थियों का भौतिक सत्यापन किया. उन्होंने अधिकारियों को दी गयी जांच रिपोर्ट में बताया है कि मानिकपुर में दो लड़कियों की शादी मार्च 2023 में ही हो चुकी है, जबकि एक की शादी जून 2023 में हुई है.